#शीर्षक :-मैं एक टीईटी शिक्षक हूँ ।
नमस्कार साथियों ।
यह पोस्ट उनसभी टीईटी शिक्षकों को समर्पित जो यह मानते हैं कि सभी टीईटी शिक्षकों की लड़ाई पूर्व नियोजित जैसी ही है व् उन सभी पूर्व नियोजित के नेतृत्व को समर्पित जो टीईटी शिक्षकों की लड़ाई लड़ने का ड्रामा करते हैं ।यह एक तथ्यात्मक विश्लेषण मात्र है इसे द्वेष से न जोड़े ।
साथियों इसमें मुझे तनिक भी संदेह नही कि पूर्व नियोजित बंधुओं ने 11 माह के अल्पकाल की सेवा व् 1500 रुपये अल्प वेतन से 20 से 25 हजार वेतन व् 60 वर्षों की सेवा या अन्य सुविधाएँ अपने संख्याबल के आधार पर निरन्तर कठिन संघर्ष के बल पर प्राप्त किया है किन्तु उस संघर्ष की दुहाई हमें देना कहीं से भी जायज नही है ।
#मैं एक टीईटी शिक्षक हूँ और जब 6 से 8 में स्नातक शिक्षक के रूप में योगदान किया तो मेरा वेतन एक हजार रूपये ज्यादा था और मनोबल भी ऊँचा किन्तु आज विद्यालय में सबसे कम और सबसे उपेक्षित महसूस करता हूँ ।कौन लड़ा मेरी लड़ाई ???
#मैं एक टीईटी अप्रशिक्षित शिक्षक हूँ और अधिकांश हमारे जैसे ही है जिनका वेतन 12 से 14 हजार के बीच है जहाँ आवेदन भी न लिख पाने वाले शिक्षकों को भी 20 हजार से ज्यादा मिलता है वही इतनी मेहनत के बाद भी इतना भारी वेतन अंतर और जिल्लत ।कौन लड़ा है या लड़ेगा मेरी लड़ाई ????
#मैं एक टीईटी प्रशिक्षण प्राप्त कर चुका शिक्षक हूँ जिसे ग्रेड पे एक साल बाद मिलेगा या दो साल बाद यह निश्चित नही है तब तक अप्रशिक्षित के रूप में विद्यालय में उपेक्षित महसूस करता रहूँगा । किसने समझा है मेरे दर्द को या कौन लड़ रहा है मेरी लड़ाई ???
#मैं एक टीईटी शिक्षक हूँ और मेरे ही सगे संबंधी या अन्य जो टीईटी से झारखंड,यूपी ,उड़ीसा आदि राज्यों में नियमित सहायक शिक्षक के रूप में बहाल होकर 40 से 50 हजार वेतन ससम्मान उठा रहे हैं । है किसी पूर्व के संघ में क्षमता जो अन्य राज्यों की तरह यहाँ भी हमारे लिए समानता की मांग भी रख सके ।लड़ना तो बहुत दूर है ।
#मैं एक टीईटी शिक्षक हूँ जिसमें एक जनवरी 2016 तक या तो अधिकतर अप्रशिक्षित थे या प्रशिक्षित का भी दो वर्ष पूरा नही हुआ था और सभी टीईटी को मूल वेतन 5200 पर ही सातवें वेतनमान का लाभ मिलेगा जिसमे बहुतों को हजार रुपये की बढोत्तरी होगी और बहुतों को जितना मिल रहा है उससे भी कम मिलेगा तो वहीँ पूर्व नियोजितों को इंक्रीमेंट के साथ 7200 से लेकर 8500 रुपए मूल वेतन पर सातवें वेतनमान का लाभ दिया जाएगा ।है किसी नेता में यह हिम्मत कि सार्वजनिक मंच से केवल यह कह सके कि टीईटी के साथ इतना अन्याय हुआ है ।इस विसंगति को दूर करो या सातवें वेतन का यह प्रारूप वापस लो ।
#मैं एक टीईटी प्रशिक्षित स्नातक ग्रेड का शिक्षक हूँ जहाँ प्रोन्नति पाने वाले हमसे 5 से 8 हजार ज्यादा वेतन लेंगे जबकि नियोजन के वक़्त ज्यादा मेरा था ।है किसी के पास फुर्सत मेरे बारे में सोचने का ??
#मैं बीएड योग्यताधारी एक से पांच में कार्यरत टीईटी शिक्षक हूँ जो 3 से चार साल से प्रशिक्षित होने के बाद भी अप्रशिक्षित का वेतन उठा रहा हूँ ।सम्बर्धन के लिए आँखे फाड़ें इन्तजार कर रहा हूँ किन्तु मेरी मनोदशा समझने की फुर्सत है किसी को ???
केवल और केवल हमारी भावनाओं के साथ खिलवाड़ हुआ है और हमारा इस्तेमाल हुआ है और कुछ नही ।उपरोक्त पोस्ट का विश्लेषण करे प्रत्येक टीईटी शिक्षक और जो भी हमारे हितों की लड़ाई लड़ने का दम्भ भरता है उसके पास तो कोई जबाव ही नही होगा ।यहाँ सभी सक्रीय साथियों को केवल इतना ही कहूँगा कि जैसे ही आप अपनी लड़ाई किसी पर छोड़ते हैं वही आपकी लड़ाई कमजोर हो जाती है ।बिखराव के दौर को खत्म कर एकजुट हो ,राजनीति करने वाले खुद हाशिये पर चले जायेंगे और पूर्व नियोजित के नेतृत्व से केवल इतना ही कहूँगा कि सरकार का जो भी फरमान शिक्षकों के सम्मान के खिलाफ जायेगा उस मुद्दे पर मैं साथ हूँ बाकि हमारी माँग को हमारे भरोसे छोड़ दें उसपर दिखावा न करें ।टीईटी के सभी साथी किसी एक संघ में लोकतंत्र स्थापित कर एकजुट हों क्योंकि विखंडन से हमारी दुर्गति ऐसे ही होती रहेगी ।
आपका मित्र
आचार्य रवि ।
नमस्कार साथियों ।
यह पोस्ट उनसभी टीईटी शिक्षकों को समर्पित जो यह मानते हैं कि सभी टीईटी शिक्षकों की लड़ाई पूर्व नियोजित जैसी ही है व् उन सभी पूर्व नियोजित के नेतृत्व को समर्पित जो टीईटी शिक्षकों की लड़ाई लड़ने का ड्रामा करते हैं ।यह एक तथ्यात्मक विश्लेषण मात्र है इसे द्वेष से न जोड़े ।
साथियों इसमें मुझे तनिक भी संदेह नही कि पूर्व नियोजित बंधुओं ने 11 माह के अल्पकाल की सेवा व् 1500 रुपये अल्प वेतन से 20 से 25 हजार वेतन व् 60 वर्षों की सेवा या अन्य सुविधाएँ अपने संख्याबल के आधार पर निरन्तर कठिन संघर्ष के बल पर प्राप्त किया है किन्तु उस संघर्ष की दुहाई हमें देना कहीं से भी जायज नही है ।
#मैं एक टीईटी शिक्षक हूँ और जब 6 से 8 में स्नातक शिक्षक के रूप में योगदान किया तो मेरा वेतन एक हजार रूपये ज्यादा था और मनोबल भी ऊँचा किन्तु आज विद्यालय में सबसे कम और सबसे उपेक्षित महसूस करता हूँ ।कौन लड़ा मेरी लड़ाई ???
#मैं एक टीईटी अप्रशिक्षित शिक्षक हूँ और अधिकांश हमारे जैसे ही है जिनका वेतन 12 से 14 हजार के बीच है जहाँ आवेदन भी न लिख पाने वाले शिक्षकों को भी 20 हजार से ज्यादा मिलता है वही इतनी मेहनत के बाद भी इतना भारी वेतन अंतर और जिल्लत ।कौन लड़ा है या लड़ेगा मेरी लड़ाई ????
#मैं एक टीईटी प्रशिक्षण प्राप्त कर चुका शिक्षक हूँ जिसे ग्रेड पे एक साल बाद मिलेगा या दो साल बाद यह निश्चित नही है तब तक अप्रशिक्षित के रूप में विद्यालय में उपेक्षित महसूस करता रहूँगा । किसने समझा है मेरे दर्द को या कौन लड़ रहा है मेरी लड़ाई ???
#मैं एक टीईटी शिक्षक हूँ और मेरे ही सगे संबंधी या अन्य जो टीईटी से झारखंड,यूपी ,उड़ीसा आदि राज्यों में नियमित सहायक शिक्षक के रूप में बहाल होकर 40 से 50 हजार वेतन ससम्मान उठा रहे हैं । है किसी पूर्व के संघ में क्षमता जो अन्य राज्यों की तरह यहाँ भी हमारे लिए समानता की मांग भी रख सके ।लड़ना तो बहुत दूर है ।
#मैं एक टीईटी शिक्षक हूँ जिसमें एक जनवरी 2016 तक या तो अधिकतर अप्रशिक्षित थे या प्रशिक्षित का भी दो वर्ष पूरा नही हुआ था और सभी टीईटी को मूल वेतन 5200 पर ही सातवें वेतनमान का लाभ मिलेगा जिसमे बहुतों को हजार रुपये की बढोत्तरी होगी और बहुतों को जितना मिल रहा है उससे भी कम मिलेगा तो वहीँ पूर्व नियोजितों को इंक्रीमेंट के साथ 7200 से लेकर 8500 रुपए मूल वेतन पर सातवें वेतनमान का लाभ दिया जाएगा ।है किसी नेता में यह हिम्मत कि सार्वजनिक मंच से केवल यह कह सके कि टीईटी के साथ इतना अन्याय हुआ है ।इस विसंगति को दूर करो या सातवें वेतन का यह प्रारूप वापस लो ।
#मैं एक टीईटी प्रशिक्षित स्नातक ग्रेड का शिक्षक हूँ जहाँ प्रोन्नति पाने वाले हमसे 5 से 8 हजार ज्यादा वेतन लेंगे जबकि नियोजन के वक़्त ज्यादा मेरा था ।है किसी के पास फुर्सत मेरे बारे में सोचने का ??
#मैं बीएड योग्यताधारी एक से पांच में कार्यरत टीईटी शिक्षक हूँ जो 3 से चार साल से प्रशिक्षित होने के बाद भी अप्रशिक्षित का वेतन उठा रहा हूँ ।सम्बर्धन के लिए आँखे फाड़ें इन्तजार कर रहा हूँ किन्तु मेरी मनोदशा समझने की फुर्सत है किसी को ???
केवल और केवल हमारी भावनाओं के साथ खिलवाड़ हुआ है और हमारा इस्तेमाल हुआ है और कुछ नही ।उपरोक्त पोस्ट का विश्लेषण करे प्रत्येक टीईटी शिक्षक और जो भी हमारे हितों की लड़ाई लड़ने का दम्भ भरता है उसके पास तो कोई जबाव ही नही होगा ।यहाँ सभी सक्रीय साथियों को केवल इतना ही कहूँगा कि जैसे ही आप अपनी लड़ाई किसी पर छोड़ते हैं वही आपकी लड़ाई कमजोर हो जाती है ।बिखराव के दौर को खत्म कर एकजुट हो ,राजनीति करने वाले खुद हाशिये पर चले जायेंगे और पूर्व नियोजित के नेतृत्व से केवल इतना ही कहूँगा कि सरकार का जो भी फरमान शिक्षकों के सम्मान के खिलाफ जायेगा उस मुद्दे पर मैं साथ हूँ बाकि हमारी माँग को हमारे भरोसे छोड़ दें उसपर दिखावा न करें ।टीईटी के सभी साथी किसी एक संघ में लोकतंत्र स्थापित कर एकजुट हों क्योंकि विखंडन से हमारी दुर्गति ऐसे ही होती रहेगी ।
आपका मित्र
आचार्य रवि ।