शिक्षा विभाग : कार्रवाई की जगह पड़ी रह गयी रिपोर्ट

खगड़िया : शिक्षा विभाग में पहले तो गड़बड़ी करने की पूरी आजादी मिलती है. फिर जांच के बाद कार्रवाई नहीं किये जाने की गारंटी दी जाती है. यह आरोप नहीं बल्कि कड़वा सच है. हाल के दिनों में ऐसे कई मामले सामने आये हैं यहां कार्रवाई के मामले लंबित रह जाते हैं. नियमित अंतराल में विद्यालयों की जांच नहीं होती है. अगर होती भी है तो आरोपियों के विरुद्ध कार्रवाई नहीं हो पाती है. या फिर ऐसे मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया जाता है. ऐसे ही एक मामला सामने आये है. जिससे शिक्षा विभाग के द्वारा आरोपियों के विरुद्ध किये जाने वाले कार्रवाई की पोल खुल गयी है. 
 
 मामला बेलदौर प्रखंड के मध्य विद्यालय उदाहावास से जुड़ा है. इस मध्य विद्यालय के प्रधानाध्यापक जय नारायण प्रसाद सुमन के विरुद्ध जिला स्तर पर रिपोर्ट भेजी गयी थी. बताया जाता है कि बेलदौर बीडीओ ने उक्त विद्यालय की जांच की थी. जांच में अनियमितता सामने आने के बाद उन्होंने 23 दिसंबर 2016 को ही जिला शिक्षा पदाधिकारी को इस विद्यालय के एचएम जय नारायण सुमन के विरुद्ध विभागीय कार्रवाई करने की अनुरोध की थी. लेकिन यहां इस मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया. 
नोटिस के बाद हरकत में आया विभाग 
 
आरोपित एचएम के विरुद्ध कार्रवाई में हो रही देरी के कारण पीर नगरा निवासी अरूण कुमार ने इस मामले की शिकायत जिला लोक शिकायत निवारण कार्यालय में की. शिकायत दर्ज होने के बाद इस मामले में डीइओ को नोटिस कर इनसे जवाब मांगा गया. हालांकि इस नोटिस का असर भी हुआ. आनन फानन में 25 फरवरी 2017 को जिला स्तर से आदेश जारी हुआ. बेलदौर के प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को पत्र लिखकर मध्य विद्यालय उदाहावास के एचएम के विरुद्ध कार्रवाई करने को कहा गया. 
एडीएम ने उठाये सवाल
 
हालांकि बीइओ को दिये गये कार्रवाई के निर्देश पर लोक शिकायत एडीएम विजय कुमार सिंह ने सवाल खड़े किये हैं. इस मामले की सुनवाई के बाद जारी किये आदेश में उन्होंने कहा है कि बीडीओ के रिपोर्ट के बाद डीइओ स्वयं इस मामले की कार्रवाई करने के लिए सक्षम थे. यह बात समझ से परे है कि जब एचएम के विरुद्ध बीडीओ ने स्पष्ट रूप से कार्रवाई की अनुशंसा डीइओ से की थी तो उन्होंने बीइओ को कार्रवाई के लिए पत्र क्यों लिखा.
 
कार्रवाई करने का दिया गया है निर्देश
 
किसी भी मध्य विद्यालय के शिक्षक के विरुद्ध विभागीय कार्रवाई करने का निर्णय डीइओ को लेना है ऐसे में उनके स्तर से बीइओ को कार्रवाई के लिए पत्र डीइओ को स्वयं आरोपित एचएम से स्पष्टीकरण पूछने, इनके विरुद्ध विभागीय कार्रवाई आरंभ करने सहित बिहार सरकारी सेवक नियमावली 2015 के तहत युक्तिसंगत कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया है. तथा गयी कार्रवाई की सूचना 15 जून 2017 तक देने को कहा गया है. 
 

विजय कुमार सिंह, एडीएम, लोक शिकायत

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