रोहतास। शिवसागर प्रखंड के विभिन्न प्राथमिक विद्यालयों में नियोजित
लगभग दर्जन भर शिक्षकों की नौकरी खतरे में पड़ गई है। इन शिक्षकों के टेट
सर्टिफिकेट प्रथम दौर की जांच में जाली पाए गए हैं। जिन शिक्षकों के टेट
प्रमाण पत्र फर्जी पाए गए हैं, उन्हें मूल के साथ बुधवार को डीईओ के समक्ष
उपस्थित होकर अपना पक्ष रखना था। परंतु महज तीन शिक्षिका ही उपस्थित हो
पाई।
ज्ञात हो कि एक वर्ष पूर्व शिवसागर प्रखंड के दर्जन भर प्राथमिक विद्यालयों में शिक्षकों का नियोजन हुआ था। नियोजन प्रक्रिया को कुछ लोगों ने डीएम के यहां चुनौती दी थी। जिनमें प्रावि गिरधरियां की स्नेहा कुमारी, प्रावि केकई की रंजु कुमारी, प्रावि सजनडिहरा की शोभा कुमारी, प्रावि बड़की खैरी की निरंजना ¨सह, प्रावि कोनकी की लालिमा कुमारी, प्राथमिक विद्यालय विश्रामपुर की ममता कुमारी व जागृति कुमारी, प्रावि बड़काडीह के धनु कुमार, प्रावि बड़ुआ के विक्की कुमार, प्रावि करूप की कविता कुमारी, प्रावि शाहपुर (दो) की देवंती कुमारी, प्रावि छोटकी चेनारी की ज्योति, प्रावि पकड़िया की पूजा कुमारी, प्रावि बरेवां के जयराम पासवान तथा प्रावि आनंदपुरा की कुमारी विक्की ¨सह का नाम शामिल है।
डीएम अनिमेष कुमार पराशर ने मामले को गंभीरता से लेते हुए पिछले वर्ष दिसंबर में डीइओ को जांच व उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया था। सूत्रों की मानें तो प्रथम दौर की जांच में इन शिक्षकों के प्रमाण पत्र गलत पाए गए हैं। गत दिन डीपीओ स्थापना दिवेश चौधरी ने बीईओ के माध्यम से पत्र भेज फर्जी सर्टिफिकेट पर नियोजित शिक्षकों को मूल के साथ 9 मार्च को डीईओ के समक्ष उपस्थित होने का निर्देश दिया था।
डीईओ डा. अशोक कुमार ¨सह ने कहा कि बुधवार को महज तीन शिक्षिका ही अपने प्रमाण पत्रों के साथ उपस्थित पाईं। जबकि अन्य शिक्षक व शिक्षिका अनुपस्थित रहे। संबंधित शिक्षकों के मूल व छाया प्रति का मिलान किया गया। लेकिन दोनों प्रमाण पत्र में अंतर पाया गया है। शीघ्र ही रिपोर्ट डीएम को सौंप दी जाएगी। साथ ही संबंधित नियोजन इकाई को उनकी सेवा समाप्त करने की भी अनुशंसा की जाएगी।
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC
ज्ञात हो कि एक वर्ष पूर्व शिवसागर प्रखंड के दर्जन भर प्राथमिक विद्यालयों में शिक्षकों का नियोजन हुआ था। नियोजन प्रक्रिया को कुछ लोगों ने डीएम के यहां चुनौती दी थी। जिनमें प्रावि गिरधरियां की स्नेहा कुमारी, प्रावि केकई की रंजु कुमारी, प्रावि सजनडिहरा की शोभा कुमारी, प्रावि बड़की खैरी की निरंजना ¨सह, प्रावि कोनकी की लालिमा कुमारी, प्राथमिक विद्यालय विश्रामपुर की ममता कुमारी व जागृति कुमारी, प्रावि बड़काडीह के धनु कुमार, प्रावि बड़ुआ के विक्की कुमार, प्रावि करूप की कविता कुमारी, प्रावि शाहपुर (दो) की देवंती कुमारी, प्रावि छोटकी चेनारी की ज्योति, प्रावि पकड़िया की पूजा कुमारी, प्रावि बरेवां के जयराम पासवान तथा प्रावि आनंदपुरा की कुमारी विक्की ¨सह का नाम शामिल है।
डीएम अनिमेष कुमार पराशर ने मामले को गंभीरता से लेते हुए पिछले वर्ष दिसंबर में डीइओ को जांच व उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया था। सूत्रों की मानें तो प्रथम दौर की जांच में इन शिक्षकों के प्रमाण पत्र गलत पाए गए हैं। गत दिन डीपीओ स्थापना दिवेश चौधरी ने बीईओ के माध्यम से पत्र भेज फर्जी सर्टिफिकेट पर नियोजित शिक्षकों को मूल के साथ 9 मार्च को डीईओ के समक्ष उपस्थित होने का निर्देश दिया था।
डीईओ डा. अशोक कुमार ¨सह ने कहा कि बुधवार को महज तीन शिक्षिका ही अपने प्रमाण पत्रों के साथ उपस्थित पाईं। जबकि अन्य शिक्षक व शिक्षिका अनुपस्थित रहे। संबंधित शिक्षकों के मूल व छाया प्रति का मिलान किया गया। लेकिन दोनों प्रमाण पत्र में अंतर पाया गया है। शीघ्र ही रिपोर्ट डीएम को सौंप दी जाएगी। साथ ही संबंधित नियोजन इकाई को उनकी सेवा समाप्त करने की भी अनुशंसा की जाएगी।
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