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बीआरपी मिले बीआरसी में, शिक्षक विद्यालय से थे गायब

 जागरण संवाददाता, सुपौल: शिक्षा में गुणात्मक सुधार लाने के उद्देश्य से गुरुवार को क्षेत्रीय शिक्षा उपनिदेशक कोसी प्रमंडल सहरसा डॉ. तकिउद्दीन अहमद ने जिले का दौरा कर विद्यालय समेत बीआरसी का औचक निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान जहां कई विद्यालय पूर्ण रूप से बंद पाए गए वहीं कई विद्यालय से बिना सूचना शिक्षक अनुपस्थित पाए गए जबकि शैक्षणिक अनुश्रवण को ले बीआरसी में बहाल बीआरपी क्षेत्र के बदले कार्यालय में जमे मिले।

आरडीडीई ऐसे अनुपस्थित शिक्षक समेत बीआरपी के एक दिन के वेतन पर रोक लगाते हुए स्पष्टीकरण की मांग की है।

किशनपुर प्रखंड के प्राथमिक विद्यालय राजपुर के निरीक्षण में जहां विद्यालय पूर्ण रूप से बंद पाया गया वहीं उच्च विद्यालय किशनपुर में पदस्थापित 18 शिक्षक में से प्रधान समेत 08 शिक्षक अनुपस्थित पाए गए। जबकि इसी प्रखंड के मध्य विद्यालय सिसौनी में 09 शिक्षक में से 08 शिक्षक उपस्थित थे जबकि एक शिक्षक आकस्मिक अवकाश में पाए गए। निरीक्षण के दौरान आरडीडीई ने जब इस विद्यालय के कैशबुक की जांच की तो पाया कि कैशबुक पूर्ण रूप से संधारित नहीं है। जिस पर प्रधान को कार्य संस्कृति में सुधार लाने के लिए कहा गया। निरीक्षण के दौरान आरडीडीई उस समय भौंचक रह गए जब वह किशनपुर बीआरसी पहुंचे। यहां के सभी बीआरपी क्षेत्र भ्रमण के बदले बीआरसी में जमे थे। जिस पर आरडीडीई ने कहा कि बीआरपी अपने मूल कर्तव्य को छोड़ बीआरसी में जमे हैं। बताया कि बीआरपी का मुख्य कार्य शैक्षणिक अनुश्रवण करना है ना कि कार्यालय में बने रहना है। निरीक्षण के दौरान आरडीडीई ने बीआरसी में उपस्थित बीआरपी से शैक्षणिक कार्य से जुड़े सवाल भी किए परंतु सही जवाब नहीं मिलने से नाराज आरडीडीई ने कहा कि वे सब अपने कार्य पद्धति में सुधार लाएं अन्यथा कार्रवाई के लिए तैयार रहें। कार्य के प्रति अपडेट रहने की नसीहत देते हुए कहा कि शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार लाना उनका कार्य है। 

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