बेगूसराय। शहर के रेलवे स्टेशन के निकट स्थित जेके प्लस टू स्कूल के
नियोजित शिक्षक-शिक्षिकाओं ने 21 जनवरी को आहूत मानव श्रृंखला का बायकाट
करने का निर्णय लिया है। इसकी जानकारी देते हुए विद्यालय के शिक्षक पंकज
कुमार, उमेश कुमार, अवधेश कुमार, मो. माहताब अशरफ आदि ने बताया कि विभाग
में नियोजित शिक्षक के वेतन की राशि कई माह पूर्व आ चुकी है।
इसके बावजूद अब तक विभागीय अधिकारियों की उदासीनता के कारण विगत छह माह से जेके स्कूल के नियोजित शिक्षकों को वेतन नहीं दिया गया है। अगर 21 जनवरी से पहले वेतन का भुगतान सुनिश्चित नहीं किया जाता है तो विद्यालय के सभी शिक्षक-शिक्षिकाएं 21 जनवरी के मानव श्रृंखला में शामिल नहीं होंगे। आवेदन पर कुल 24 शिक्षक-शिक्षिकाओं ने हस्ताक्षर किए हैं।
इनसेट
वेतन भुगतान की गुहार
बेगूसराय सदर : तालीमी मरकज शिक्षा स्वयं सेवक संघ एवं टोला सेवकों ने जिला शिक्षा पदाधिकारी व डीपीओ माध्यमिक से बकाया वेतन भुगतान की गुहार लगाई है। संघ के प्रदेश सचिव तारिक अनवर व जिला सचिव मो. अकबर ने बताया कि तालीमी स्वयं सेवकों एवं टोला सेवकों को विगत छह माह से मानदेय नहीं दिया गया है। जिसके कारण उनके समक्ष भारी आर्थिक संकट उत्पन्न हो गई है। नोटबंदी के इस दौर में जहां हर आदमी एक-एक रुपये के लिए परेशान है, वहां इन गरीब तालीमी सेवकों व टोला सेवकों को उधारी पर भी कुछ नहीं मिल रहा है। संगठन की ओर से डीएम-डीडीसी सहित संबंधित अधिकारियों को भी मानदेय भुगतान के लिए आवेदन दिया गया है।
इसके बावजूद अब तक विभागीय अधिकारियों की उदासीनता के कारण विगत छह माह से जेके स्कूल के नियोजित शिक्षकों को वेतन नहीं दिया गया है। अगर 21 जनवरी से पहले वेतन का भुगतान सुनिश्चित नहीं किया जाता है तो विद्यालय के सभी शिक्षक-शिक्षिकाएं 21 जनवरी के मानव श्रृंखला में शामिल नहीं होंगे। आवेदन पर कुल 24 शिक्षक-शिक्षिकाओं ने हस्ताक्षर किए हैं।
इनसेट
वेतन भुगतान की गुहार
बेगूसराय सदर : तालीमी मरकज शिक्षा स्वयं सेवक संघ एवं टोला सेवकों ने जिला शिक्षा पदाधिकारी व डीपीओ माध्यमिक से बकाया वेतन भुगतान की गुहार लगाई है। संघ के प्रदेश सचिव तारिक अनवर व जिला सचिव मो. अकबर ने बताया कि तालीमी स्वयं सेवकों एवं टोला सेवकों को विगत छह माह से मानदेय नहीं दिया गया है। जिसके कारण उनके समक्ष भारी आर्थिक संकट उत्पन्न हो गई है। नोटबंदी के इस दौर में जहां हर आदमी एक-एक रुपये के लिए परेशान है, वहां इन गरीब तालीमी सेवकों व टोला सेवकों को उधारी पर भी कुछ नहीं मिल रहा है। संगठन की ओर से डीएम-डीडीसी सहित संबंधित अधिकारियों को भी मानदेय भुगतान के लिए आवेदन दिया गया है।