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मूल्यांकन के लिए केंद्रों पर परीक्षकों की कतार


मुजफ्फरपुर । माध्यमिक एवं वित्त रहित शिक्षा संयुक्त संघर्ष मोर्चा की सरकार से समझौता होने के बाद रविवार को शिक्षक मूल्यांकन केंद्र पर पहुंचे। कई केंद्रों पर योगदान देने के लिए काउंटर कम पड़े, तो और काउंटर खोलने के डीईओ ने निर्देश दिए हैं।

उल्लेखनीय है कि समान काम का समान वेतन व वित्त रहित कॉलेजों के अधिग्रहण की मांग को लेकर 32 दिन तक संघर्ष मोर्चा का धरना-प्रदर्शन चला। शनिवार को सरकार से सेवा नियमावली बनाने की बात पर समझौता हुआ।
मैट्रिक मूल्यांकन केंद्र पांच बने हैं। यहां करीब पांच लाख कॉपियां जांची जानी हैं। मुखर्जी सेमिनरी, तिरहुत एकेडमी, डीएन स्कूल, मारवाड़ी हाईस्कूल व चैपमन में शनिवार को डीएन स्कूल में मूल्यांकन गैर अनुभवी शिक्षकों से शुरू कराया गया था। लेकिन,हड़ताल खत्म होने के बाद रविवार को भी मूल्यांकन केंद्र खुले रहे।
मुखर्जी सेमिनरी की प्राचार्य डॉ. इला सिन्हा ने बताया कि यहां सुबह 10 बजे से ही योगदान देने का सिलसिला शुरू हो गया था। दोपहर एक बजे से विभिन्न विषयों की उत्तरपुस्तिकाओं की जांच शुरू हो गई। हालांकि शिक्षकों का योगदान देने के लिए आने का सिलसिला देर तक चलता रहा। प्राचार्य ने कहा कि सोमवार से स्थिति और बेहतर हो जाएगी।
एमडीडीएम कॉलेज में इंटर की उत्तरपुस्तिकाओं का केंद्र है। यहां जिला शिक्षा पदाधिकारी कामेश्वर कामती खुद पहुंचे थे। वहां एक ही काउंटर खुला हुआ था। शिक्षकों की लंबी कतार लगी थी। उन्होंने फोन पर निर्देश दिया। एक और काउंटर शिक्षकों के लिए खुले, ताकि जल्दी से मूल्यांकन काम शुरू हो।
माध्यमिक शिक्षक संघ के नेता कन्हैया मिश्र ने कहा कि छात्रों के हित को देखते हुए समय पर कॉपियां जंच जाएं, इसका हर संभव प्रयास होगा।
वित्त रहित शिक्षा संयुक्त मोर्चा की जिला कार्यकारिणी की बैठक हुई। जिसमें शनिवार को हुए समझौते पर संतोष जताया। बैठक में नरेंद्र कुमार सिंह, प्रो. रामविनोद शर्मा एवं अनिल कुमार सिंह मौजूद थे।

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