मोतिहारी । जिले में जल्द ही नई सीडी से
टीईटी प्रमाण पत्रों के मिलान की प्रक्रिया शुरू होगी। इसकी सारी तैयारियां
शिक्षा विभाग ने पूरी कर ली है। बिहार विद्यालय परीक्षा समिति से मंगाई गई
नई सीडी से प्रमाण पत्रों के मिलान की प्रक्रिया पूरी की जाएगी। विभाग के
पास पूर्व से उपलब्ध टीईटी उत्तीर्णता सीडी के आधार पर प्रमाण पत्रों के
मिलान की प्रक्रिया की गई थी।
जहां पचास से अधिक जाली प्रमाण पत्र चिह्नित किए गए थे। पूर्व के सीडी पर संदेह होने पर विभाग ने परीक्षा समिति से नई सीडी मंगाने का निर्णय लिया था। इसे देखते हुए जिला से परीक्षा समिति को पत्र भेजते हुए नई सीडी उपलब्ध कराने की बात कही थी। पत्र के आधार पर परीक्षा समिति ने सीडी जिला को भेज दिया है। जांच प्रक्रिया पूरी होने के बाद जाली प्रमाण पत्र सामने आ जाएंगे। इसके बाद चिन्हित होने वाले फर्जी टीईटी प्रमाण पत्र पर बहाल होने वाले शिक्षकों के नामों का खुलासा किया जाएगा। विभागीय जानकारी के अनुसार, अबतक पूर्व के सीडी के मिलान के आधार पर जाली चिन्हित हो चुके प्रमाण पत्र धारक शिक्षकों का वेतन भुगतान नहीं होगा। साथ ही नई सीडी से मिलान के बाद चिन्हित होने वाले प्रमाण पत्र धारक शिक्षकों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। स्थापना डीपीओ नारद दिवेदी ने मंगलवार को बताया कि नई सीडी से मिलान की प्रक्रिया जल्द ही शुरू की जाएगी। मिलान की प्रक्रिया पूरा होने के बाद फर्जी प्रमाण पत्रों को चिह्नित किया जा सकेगा। इसके बाद फर्जी प्रमाण पत्र धारक शिक्षकों के खिलाफ आगे के कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
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फर्जी चिन्हित हो चुके शिक्षकों की जा सकती है नौकरी
विभागीय स्तर पर किये जा चुके टीईटी प्रमाण पत्र मामले में फर्जी चिन्हित हो चुके शिक्षकों की नौकरी जा सकती है। जाली प्रमाण पत्र का मामला सामने आने के बाद फर्जी प्रमाण पत्र धारक शिक्षकों में हड़कंप व्याप्त है। जानकारी के अनुसार, ऐसे शिक्षकों के खिलाफ जल्द ही विभागीय कार्रवाई के अलावा कानूनी कार्रवाई भी की जा सकती है। फर्जी टीईटी प्रमाण पत्र का मामला डायट में नामांकन लेने के लिए लगाए गए आवेदन के दौरान सामने आया। ज्यादा अंक देखकर प्रमाण पत्रों का मिलान किया गया जहां कई शिक्षकों के प्रमाण पत्र जाली पाए गए।
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जहां पचास से अधिक जाली प्रमाण पत्र चिह्नित किए गए थे। पूर्व के सीडी पर संदेह होने पर विभाग ने परीक्षा समिति से नई सीडी मंगाने का निर्णय लिया था। इसे देखते हुए जिला से परीक्षा समिति को पत्र भेजते हुए नई सीडी उपलब्ध कराने की बात कही थी। पत्र के आधार पर परीक्षा समिति ने सीडी जिला को भेज दिया है। जांच प्रक्रिया पूरी होने के बाद जाली प्रमाण पत्र सामने आ जाएंगे। इसके बाद चिन्हित होने वाले फर्जी टीईटी प्रमाण पत्र पर बहाल होने वाले शिक्षकों के नामों का खुलासा किया जाएगा। विभागीय जानकारी के अनुसार, अबतक पूर्व के सीडी के मिलान के आधार पर जाली चिन्हित हो चुके प्रमाण पत्र धारक शिक्षकों का वेतन भुगतान नहीं होगा। साथ ही नई सीडी से मिलान के बाद चिन्हित होने वाले प्रमाण पत्र धारक शिक्षकों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। स्थापना डीपीओ नारद दिवेदी ने मंगलवार को बताया कि नई सीडी से मिलान की प्रक्रिया जल्द ही शुरू की जाएगी। मिलान की प्रक्रिया पूरा होने के बाद फर्जी प्रमाण पत्रों को चिह्नित किया जा सकेगा। इसके बाद फर्जी प्रमाण पत्र धारक शिक्षकों के खिलाफ आगे के कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
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फर्जी चिन्हित हो चुके शिक्षकों की जा सकती है नौकरी
विभागीय स्तर पर किये जा चुके टीईटी प्रमाण पत्र मामले में फर्जी चिन्हित हो चुके शिक्षकों की नौकरी जा सकती है। जाली प्रमाण पत्र का मामला सामने आने के बाद फर्जी प्रमाण पत्र धारक शिक्षकों में हड़कंप व्याप्त है। जानकारी के अनुसार, ऐसे शिक्षकों के खिलाफ जल्द ही विभागीय कार्रवाई के अलावा कानूनी कार्रवाई भी की जा सकती है। फर्जी टीईटी प्रमाण पत्र का मामला डायट में नामांकन लेने के लिए लगाए गए आवेदन के दौरान सामने आया। ज्यादा अंक देखकर प्रमाण पत्रों का मिलान किया गया जहां कई शिक्षकों के प्रमाण पत्र जाली पाए गए।