मोतिहारी | निज संवाददाता जिले की सरकारी शिक्षा व्यवस्था पूरी तरह बेपटरी हो कर रह गया है। शिक्षकों की लेटलतीफी और छात्रों की फर्जी उपस्थिति आम बात है। सूत्रों की माने कई प्रधानाध्यापक मध्याह्न भोजन में फर्जीवाड़ा की खातिर शिक्षकों को लिफ्ट देने से भी गुरेज नहीं करते।
आम विद्यालयों की बात कौन कहे आदर्श विद्यालयों का भी बुरा हाल है।
पिछले दिनों डीपीओ लेखा एवं योजना अश्विनी कुमार ने राजकीय मध्य विद्यालय चिरैया का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान स्कूल में पदस्थापित 11 शिक्षकों में से एक बिना सूचना जबकि 5 उपस्थिति बनाकर फरार पाये गये। इतना ही नहीं स्कूल छात्रोपस्थिति में 562 छात्रों की हाजिरी बनी थी। जबकि भौतिक सत्यापन दौरान 320 ही छात्र-छात्राएं उपस्थिति थे। स्कूल में कम्बाइंड क्लास का संचालन हो रहा था। टोला सेवक नीला कुमारी पहला और दूसरा, उमाशंकर बैठा तीसरा व चौथा तथा तालीमी मरकज स्वयं सेवक फरहत हुसैन छठ वर्ग का संचालन कर रहे थे। अधिकांश बच्चे स्कूल ग्राउंड में शोर गुल करते नजर आये।
इसको लेकर डीपीओ श्री कुमार ने अनुपस्थित शिक्षकों के एक दिन का वेतन काटते हुए तीन दिनों के भीतर जवाब तलब किया है। निरीक्षण के दिन प्रधानाध्यापक बैठक में थे।
वहीं सहायक शिक्षक नन्दकिशोर सिंह डीपीओ अस्थापना के कार्यालय व रंजन कुमार बिना सूचना अनुपस्थित थे। इसके अलावा असगर आलम, रानी कुमारी, माधुरी कुमारी, नीलू कुमारी व अफसाना इस्लाम उपस्थिति बनाकर गायब थे।
आम विद्यालयों की बात कौन कहे आदर्श विद्यालयों का भी बुरा हाल है।
पिछले दिनों डीपीओ लेखा एवं योजना अश्विनी कुमार ने राजकीय मध्य विद्यालय चिरैया का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान स्कूल में पदस्थापित 11 शिक्षकों में से एक बिना सूचना जबकि 5 उपस्थिति बनाकर फरार पाये गये। इतना ही नहीं स्कूल छात्रोपस्थिति में 562 छात्रों की हाजिरी बनी थी। जबकि भौतिक सत्यापन दौरान 320 ही छात्र-छात्राएं उपस्थिति थे। स्कूल में कम्बाइंड क्लास का संचालन हो रहा था। टोला सेवक नीला कुमारी पहला और दूसरा, उमाशंकर बैठा तीसरा व चौथा तथा तालीमी मरकज स्वयं सेवक फरहत हुसैन छठ वर्ग का संचालन कर रहे थे। अधिकांश बच्चे स्कूल ग्राउंड में शोर गुल करते नजर आये।
इसको लेकर डीपीओ श्री कुमार ने अनुपस्थित शिक्षकों के एक दिन का वेतन काटते हुए तीन दिनों के भीतर जवाब तलब किया है। निरीक्षण के दिन प्रधानाध्यापक बैठक में थे।
वहीं सहायक शिक्षक नन्दकिशोर सिंह डीपीओ अस्थापना के कार्यालय व रंजन कुमार बिना सूचना अनुपस्थित थे। इसके अलावा असगर आलम, रानी कुमारी, माधुरी कुमारी, नीलू कुमारी व अफसाना इस्लाम उपस्थिति बनाकर गायब थे।