पटना : राज्य
के प्रारंभिक स्कूलों के नियोजित शिक्षकों की दक्षता परीक्षा मैट्रिक
परीक्षा के तर्ज पर होगी. परीक्षा केंद्रों पर सीसीटीवी कैमरे लगेंगे,
वीडियोग्राफी होगी, मुख्यालय से भी पदाधिकारी मॉनीटरिंग करने जायेंगे.
19 जुलाई को होनेवाली दक्षता परीक्षा कदाचार मुक्त रहे, इसको लेकर
तैयारी की जा रही है. शिक्षा विभाग इस संबंध में तैयारी कर रहा है. दक्षता
परीक्षा में 2006 और 2008 नियमावली से नियुक्त हुए वैसे सभी शिक्षक शामिल
होंगे, जिन्होंने अब तक दक्षता परीक्षा नहीं दी है. 30 हजार से ज्यादा ऐसे
शिक्षक दक्षता परीक्षा में बैठेंगे. अब तक तीन बार पहले हुए दक्षता परीक्षा
में 2885 वैसे नियोजित शिक्षक जो दो बार फेल हो चुके हैं, उनके पास आखिरी
मौका होगा.
इस बार की दक्षता परीक्षा में भी वह सफल नहीं होते हैं तो उनकी सेवा
समाप्त कर दी जायेगी. दक्षता परीक्षा दौरान किसी प्रकार का नकल करने की
स्थिति में शिक्षकों की सेवा खत्म कर दी जायेगी. परीक्षा केंद्रों पर
सुरक्षा बलों की भी तैनाती रहेगी. शिक्षा मंत्री अशोक चौधरी ने स्पष्ट
संकेत दे दिये हैं कि जब बच्चों की परीक्षा पूरी कड़ाई से ली जाती है तो
शिक्षक जो उन बच्चों को पढ़ाते हैं उन्हें ही उसी तरह परीक्षा देनी होगी.
इसी से शिक्षकों की गुणवत्ता की जांच होगी. दक्षता परीक्षा कदाचार मुक्त हो
इसके लिए सीसीटीवी कैमरे लगाये जायेंगे अौर वीडियोग्राफी होगी.
100 में 45 अंक लाने पर होंगे पास : दक्षता परीक्षा में 70 प्रतिशत
सवाल विषय से ही पूछे जायेंगे. करीब 20 फीसदी सवाल शिक्षण, कौशल व अन्य
दक्षताओं पर होगी और 10 फीसदी सवाल शिक्षक की अभिरुचि व रिजनिंग से होगी.
ये सवाल प्रारंभिक स्कूल के क्लास एक से आठ के आधार पर पूछे जायेंगे.
प्रारंभिक स्कूलों के सामान्य शिक्षक, शारीरिक शिक्षक और उर्दू शिक्षक
के लिए सवाल अलग-अलग होंगे. उर्दू शिक्षकों के लिए सवाल उर्दू में पूछे
जायेंगे. सामान्य कोटि के शिक्षकों को दक्षता परीक्षा में 45 फीसदी अंक और
आरक्षित कोटि एससी, एसटी, ओबीसी, इबीसी कोटि के शिक्षकों को 40 फीसदी अंक
लाना होगा, तभी उन्हें वेतनवृद्धि का लाभ मिलेगा.
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