मौलवी व फोकानिया की परीक्षा में नकल की छूट की खबर के बाद जिला प्रशासन की नींद खुली है. मंगलवार को विभिन्न परीक्षा केंद्रों का निरीक्षण कर परीक्षा में व्याप्त कुव्यवस्था को देख कर सदर एसडीओ ने कई आवश्यक निर्देश दिये. वहीं, परीक्षा के दूसरे दिन 11 परीक्षार्थियों को नकल करते हुए पकड़ा गया.
महिला परीक्षा केंद्रों पर महिला वीक्षक व महिला पुलिस बल की तैनाती का निर्देश भी दिया गया.
नवादा (नगर) : जिले में मौलवी व फोकानिया की परीक्षा पांच परीक्षा केंद्रों पर आयोजित किया जा रहा है. परीक्षा के पहले दिन दिखी कुव्यवस्था को दूर करने की कोशिश में जिला प्रशासन व शिक्षा विभाग के अधिकारी जुटे दिखे. हालांकि कदाचार को रोकने का प्रयास दूसरे दिन भी नाकाफी दिखा. मैट्रिक व इंटर की परीक्षा में जिला प्रशासन द्वारा जिस प्रकार फूल प्रूफ व्यवस्था की गयी थी. इसी का परिणाम था कि कदाचार को रोकने में प्रशासन काफी हद तक सफल रहा था.
लेकिन मैट्रिक व इंटर के समकक्ष होनेवाली मदरसा बोर्ड द्वारा आयोजित मौलवी व फोकानिया की परीक्षा में प्रशासन की सख्ती तैयारी पूरी तरह से फेल दिखी. परीक्षा के दूसरे दिन सदर एसडीओ राजेश कुमार, एसडीपीओ संजय कुमार पांडेय, जिला शिक्षा पदाधिकारी गोरख प्रसाद आदि ने विभिन्न परीक्षा केंद्रों का निरीक्षण किया तथा कदाचारमुक्त परीक्षा संपन्न कराने का निर्देश केंद्राधीक्षक व वीक्षकों को दिया. जांच के क्रम में गांधी इंटर स्कूल से दो परीक्षार्थी, कन्हाई इंटर स्कूल से छह परीक्षार्थी व आरएमडब्ल्यू कॉलेज परीक्षा केंद्र से तीन परीक्षार्थी को नकल करते हुए पकड़ा गया. लेकिन, प्रशासन द्वारा परीक्षा संचालन में बरती गयी दोहरे मापदंड में बदलाव लाने की जरूरत है.
बिहार विद्यालय परीक्षा समिति द्वारा आयोजित मैट्रिक व इंटर की परीक्षा में जिस प्रकार सख्ती के साथ परीक्षा का संचालन किया गया था. पर्याप्त संख्या में सुरक्षाकर्मी के साथ वीक्षकों की तैनाती, सीसीटीवी कैमरे, लगातार उड़नदस्ता टीम द्वारा जांच किये जाने तथा निष्पक्ष तरीके से परीक्षा का संचालन किया गया था. वहीं मदरसा बोर्ड द्वारा आयोजित किये जा रहे मैट्रिक के समकक्ष फोकानिया व इंटर के समकक्ष मौलवी की परीक्षा में व्यवस्था में काफी कमी दिख रही है.
इसके कारण प्रशासन व शिक्षा विभाग कदाचार को रोक पाने में असफल दिख रहा है. हालांकि परीक्षा के दूसरे दिन सदर एसडीओ द्वारा किये गये जांच के क्रम में व्यवस्था में सुधार की बात कही गयी है. लेकिन इसमें किस हद तक बदलाव आता है. यह अगले दिन होनेवाली परीक्षाओं में देखने को मिलेगा. प्रशासन द्वारा परीक्षा संचालन के दोहरे मापदंड को दूर करना चाहिए. ताकि सभी विद्यार्थियों को समान माहौल में परीक्षा देने का मौका मिल सके.
सख्ती से परीक्षा संचालन का किया दावा : सदर एसडीओ राजेश कुमार ने परीक्षा के दूसरे दिन जांच करते हुए सभी केंद्राधीक्षकों को कदाचारमुक्त परीक्षा संचालन कराने का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि सभी सीएस परीक्षा शुरू होने के पहले गेट पर ही कड़ाई के साथ परीक्षार्थियों की जांच कर क्लास रूम में प्रवेश करायें. वीक्षक निष्पक्षता पूर्वक अपने कर्तव्यों का निर्वहन करें. उन्होंने प्रभात खबर को बताया कि सभी वीक्षकों को परिचय पत्र के साथ ड्यूटी करने का निर्देश दिया गया है.
महिला परीक्षा केंद्रों पर महिला पर्यवेक्षिका व महिला पुलिसकर्मी की तैनाती की गयी है. यह व्यवस्था दूसरी पाली से शुरू कर दी गयी है. उन्होंने कहा कि किसी भी कीमत पर कदाचार बरदाश्त नहीं की जायेगी. कदाचारमुक्त परीक्षा संपन्न कराने में अक्षम केंद्राधीक्षकों पर कार्रवाई की जायेगी.
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महिला परीक्षा केंद्रों पर महिला वीक्षक व महिला पुलिस बल की तैनाती का निर्देश भी दिया गया.
नवादा (नगर) : जिले में मौलवी व फोकानिया की परीक्षा पांच परीक्षा केंद्रों पर आयोजित किया जा रहा है. परीक्षा के पहले दिन दिखी कुव्यवस्था को दूर करने की कोशिश में जिला प्रशासन व शिक्षा विभाग के अधिकारी जुटे दिखे. हालांकि कदाचार को रोकने का प्रयास दूसरे दिन भी नाकाफी दिखा. मैट्रिक व इंटर की परीक्षा में जिला प्रशासन द्वारा जिस प्रकार फूल प्रूफ व्यवस्था की गयी थी. इसी का परिणाम था कि कदाचार को रोकने में प्रशासन काफी हद तक सफल रहा था.
लेकिन मैट्रिक व इंटर के समकक्ष होनेवाली मदरसा बोर्ड द्वारा आयोजित मौलवी व फोकानिया की परीक्षा में प्रशासन की सख्ती तैयारी पूरी तरह से फेल दिखी. परीक्षा के दूसरे दिन सदर एसडीओ राजेश कुमार, एसडीपीओ संजय कुमार पांडेय, जिला शिक्षा पदाधिकारी गोरख प्रसाद आदि ने विभिन्न परीक्षा केंद्रों का निरीक्षण किया तथा कदाचारमुक्त परीक्षा संपन्न कराने का निर्देश केंद्राधीक्षक व वीक्षकों को दिया. जांच के क्रम में गांधी इंटर स्कूल से दो परीक्षार्थी, कन्हाई इंटर स्कूल से छह परीक्षार्थी व आरएमडब्ल्यू कॉलेज परीक्षा केंद्र से तीन परीक्षार्थी को नकल करते हुए पकड़ा गया. लेकिन, प्रशासन द्वारा परीक्षा संचालन में बरती गयी दोहरे मापदंड में बदलाव लाने की जरूरत है.
बिहार विद्यालय परीक्षा समिति द्वारा आयोजित मैट्रिक व इंटर की परीक्षा में जिस प्रकार सख्ती के साथ परीक्षा का संचालन किया गया था. पर्याप्त संख्या में सुरक्षाकर्मी के साथ वीक्षकों की तैनाती, सीसीटीवी कैमरे, लगातार उड़नदस्ता टीम द्वारा जांच किये जाने तथा निष्पक्ष तरीके से परीक्षा का संचालन किया गया था. वहीं मदरसा बोर्ड द्वारा आयोजित किये जा रहे मैट्रिक के समकक्ष फोकानिया व इंटर के समकक्ष मौलवी की परीक्षा में व्यवस्था में काफी कमी दिख रही है.
इसके कारण प्रशासन व शिक्षा विभाग कदाचार को रोक पाने में असफल दिख रहा है. हालांकि परीक्षा के दूसरे दिन सदर एसडीओ द्वारा किये गये जांच के क्रम में व्यवस्था में सुधार की बात कही गयी है. लेकिन इसमें किस हद तक बदलाव आता है. यह अगले दिन होनेवाली परीक्षाओं में देखने को मिलेगा. प्रशासन द्वारा परीक्षा संचालन के दोहरे मापदंड को दूर करना चाहिए. ताकि सभी विद्यार्थियों को समान माहौल में परीक्षा देने का मौका मिल सके.
सख्ती से परीक्षा संचालन का किया दावा : सदर एसडीओ राजेश कुमार ने परीक्षा के दूसरे दिन जांच करते हुए सभी केंद्राधीक्षकों को कदाचारमुक्त परीक्षा संचालन कराने का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि सभी सीएस परीक्षा शुरू होने के पहले गेट पर ही कड़ाई के साथ परीक्षार्थियों की जांच कर क्लास रूम में प्रवेश करायें. वीक्षक निष्पक्षता पूर्वक अपने कर्तव्यों का निर्वहन करें. उन्होंने प्रभात खबर को बताया कि सभी वीक्षकों को परिचय पत्र के साथ ड्यूटी करने का निर्देश दिया गया है.
महिला परीक्षा केंद्रों पर महिला पर्यवेक्षिका व महिला पुलिसकर्मी की तैनाती की गयी है. यह व्यवस्था दूसरी पाली से शुरू कर दी गयी है. उन्होंने कहा कि किसी भी कीमत पर कदाचार बरदाश्त नहीं की जायेगी. कदाचारमुक्त परीक्षा संपन्न कराने में अक्षम केंद्राधीक्षकों पर कार्रवाई की जायेगी.
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