डीपीओ स्थापना और कर्मचारियों के विवाद में नियोजित शिक्षकों का
वेतन रुक गया है। उन्हें नवंबर महीने का वेतन अब तक नहीं मिला है। शिक्षकों
का कहना है कि कार्यालय में फाइलें लंबित हैं इसलिए वेतन को ट्रेजरी नहीं
भेजा जा रहा है।
वहीं डीपीओ ने कहा कि प्रारंभिक शिक्षकों के वेतन के लिए आवंटन ही अब तक नहीं आया है।
जिले में सात हजार प्रारंभिक नियोजित शिक्षक हैं। इसके अलावा 1200 माध्यमिक नियोजित शिक्षक हैं। शिक्षकों को वेतन एक तारीख को मिल जाना चाहिए था लेकिन शनिवार तक डीपीओ के कर्मचारी हड़ताल पर थे। प्रारंभिक शिक्षक संघ के नेता पूरण कुमार ने कहा कि डीपीओ के दफ्तर में काम ठप है। फाइलें लंबित हैं इसलिए हमारा वेतन भी नहीं जा रहा है। डीपीओ को इसके लिए तात्कालिक व्यवस्था करनी चाहिए।
वेतन नहीं मिलने से शिक्षकों को आर्थिक परेशानी हो रही है। डीपीओ संजय कुमार ने कहा कि प्रारंभिक नियोजित शिक्षकों की उपस्थिति सूची ही हर महीने सात तारीख को आती है। अभी तो सराकर की तरफ से आवंटन भी नहीं आया है। इसलिए वेतन फंसने की बात गलत है। डीपीओ ने माध्यमिक शिक्षकों का वेतन दो दिन तक रुके रहने की बात मानी। उन्होंने कहा कि सोमवार को माध्यमिक शिक्षकों का वेतन बनाकर भेज दिया जाएगा। अब सारा काम सुचारू रूप से किया जाएगा।
वहीं डीपीओ ने कहा कि प्रारंभिक शिक्षकों के वेतन के लिए आवंटन ही अब तक नहीं आया है।
जिले में सात हजार प्रारंभिक नियोजित शिक्षक हैं। इसके अलावा 1200 माध्यमिक नियोजित शिक्षक हैं। शिक्षकों को वेतन एक तारीख को मिल जाना चाहिए था लेकिन शनिवार तक डीपीओ के कर्मचारी हड़ताल पर थे। प्रारंभिक शिक्षक संघ के नेता पूरण कुमार ने कहा कि डीपीओ के दफ्तर में काम ठप है। फाइलें लंबित हैं इसलिए हमारा वेतन भी नहीं जा रहा है। डीपीओ को इसके लिए तात्कालिक व्यवस्था करनी चाहिए।
वेतन नहीं मिलने से शिक्षकों को आर्थिक परेशानी हो रही है। डीपीओ संजय कुमार ने कहा कि प्रारंभिक नियोजित शिक्षकों की उपस्थिति सूची ही हर महीने सात तारीख को आती है। अभी तो सराकर की तरफ से आवंटन भी नहीं आया है। इसलिए वेतन फंसने की बात गलत है। डीपीओ ने माध्यमिक शिक्षकों का वेतन दो दिन तक रुके रहने की बात मानी। उन्होंने कहा कि सोमवार को माध्यमिक शिक्षकों का वेतन बनाकर भेज दिया जाएगा। अब सारा काम सुचारू रूप से किया जाएगा।