पटना।
बिहार के सरकारी विद्यालयों में शिक्षकों की उपस्थिति को लेकर बड़ा बदलाव किया गया है। राज्य सरकार ने स्कूलों में डिजिटल/बायोमेट्रिक अटेंडेंस सिस्टम लागू कर दिया है। इस नई व्यवस्था के तहत अब शिक्षकों की हाजिरी ऑनलाइन और तकनीक आधारित माध्यम से दर्ज की जाएगी।
शिक्षा विभाग का कहना है कि इस कदम का उद्देश्य विद्यालयों में अनुशासन, पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करना है।
📌 कैसे होगी अब हाजिरी?
नई व्यवस्था के अनुसार—
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शिक्षकों की उपस्थिति डिजिटल एप / टैबलेट के माध्यम से दर्ज की जाएगी
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कुछ जगहों पर लोकेशन आधारित और फेस/बायोमेट्रिक सिस्टम का प्रयोग किया जा रहा है
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हाजिरी का डेटा रियल-टाइम में विभागीय पोर्टल पर उपलब्ध रहेगा
इससे फर्जी हाजिरी और अनुपस्थिति पर तुरंत कार्रवाई संभव हो सकेगी।
🎯 क्यों लागू किया गया यह सिस्टम?
शिक्षा विभाग के अनुसार—
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कागजी रजिस्टर में हाजिरी दर्ज करने से
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फर्जी उपस्थिति
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देर से आने-जाने
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अनियमितता
जैसी शिकायतें मिल रही थीं
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डिजिटल अटेंडेंस सिस्टम से यह सुनिश्चित होगा कि शिक्षक वास्तव में स्कूल में मौजूद हैं या नहीं।
🏫 टैबलेट और ऐप से होगी मॉनिटरिंग
राज्य सरकार की ओर से कई स्कूलों में—
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सरकारी टैबलेट उपलब्ध कराए गए हैं
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विशेष ई-अटेंडेंस ऐप इंस्टॉल किया गया है
जिसके माध्यम से शिक्षक और छात्र दोनों की उपस्थिति दर्ज की जा रही है।
⚠️ शिक्षकों की चिंताएं भी सामने
हालांकि नई व्यवस्था को लेकर कुछ शिक्षकों ने समस्याएं भी बताई हैं—
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नेटवर्क की समस्या
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तकनीकी गड़बड़ी के कारण गलत हाजिरी दर्ज होना
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ग्रामीण क्षेत्रों में इंटरनेट की उपलब्धता
शिक्षक संगठनों ने मांग की है कि तकनीकी खामियों को दूर कर व्यवस्था को पूरी तरह लागू किया जाए।
📈 शिक्षा व्यवस्था में पारदर्शिता की दिशा में कदम
सरकार का मानना है कि डिजिटल अटेंडेंस सिस्टम से—
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स्कूलों में शिक्षकों की नियमित उपस्थिति बढ़ेगी
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शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार होगा
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प्रशासनिक निगरानी मजबूत होगी
आने वाले समय में इसे पूरे राज्य में पूरी तरह लागू किए जाने की योजना है।