--> <!--Can't find substitution for tag [post.title]--> | The Bihar Teacher Times - बिहार शिक्षक नियोजन

LIVE : UPTET Result 2021

Breaking Posts

एनआईओएस से ट्रेंड शिक्षकों के वेतन निर्धारण के लिए उठी आवाज, जल्द कदम उठाने की मांग

बिहार राज्य प्राथमिक शिक्षक संघ सदर अनुमंडल के उपसचिव राकेश कुमार सिंह एवं पचरुखी के अंचल सचिव जयप्रकाश सिंह ने जिला पदाधिकारी को आवेदन देकर शिक्षकों की विभिन्न समस्याओं के समाधान की मांग की है।
नेताद्वय द्वारा दिए गए आवेदन में एनआईओएस से डीएलएड उत्तीर्ण शिक्षकों के वेतन निर्धारण, ब्रीज कोर्स पास शिक्षकों के वेतन निर्धारण में हाईकोर्ट के एमजेएमसी नंबर 2024/2018 नीलू त्रिपाठी बनाम राज्य सरकार में दिए गए आदेश के आलोक में बीएड प्रशिक्षण की तिथि से प्रशिक्षित का वेतनमान देने, गैर-शैक्षणिक प्रतिनियोजन रद्द करने तथा ऐसा करने वाले अधिकारियों पर कार्रवाई करने,फर्जीवाड़ा कर शिक्षक बने लोगों पर कार्रवाई करने,बेसिक ग्रेड में कार्यरत शिक्षकों को स्नातक ग्रेड में प्रोन्नति देने, प्रखंड साधनसेवियों एवं संकुल समन्वयकों के कार्य को परिभाषित करते हुए उनके मूल कार्य अकादमिक समर्थन देने तथा सभी प्रकार के बकाया अंतरवेतन अविलंब करने की मांग की है। नेताद्वय ने बताया कि एनआईओएस से डीएलएड उत्तीर्ण शिक्षकों का वेतन निर्धारण करने की जगह स्थापना कार्यालय मामले को उलझा रहा है। ठीक इसी तरह ब्रीज कोर्स पास बेसिक शिक्षकों का सही आंकड़ा तक विभाग के पास मौजूद नहीं है। विभाग इनकी संख्या मात्र 73 बता रहा है।

जबकि जिले में तीन केंद्र चल रहे थे और प्रत्येक केंद्र पर 80 शिक्षक नामांकित थे। इसमें निजी विद्यालय के शिक्षक बहुत कम थे। इसमें हाईकोर्ट के एमजेएमसी नंबर 2024/2018 नीलू त्रिपाठी बनाम राज्य सरकार के आदेश के बावजूद जिले में ब्रीज कोर्स उत्तीर्ण शिक्षकों को बीएड उत्तीर्णता की तिथि से प्रशिक्षित शिक्षक के सभी पारिमाणिक लाभ देने की जगह ब्रीज कोर्स पास करने की तिथि से लाभ देने का आदेश निर्गत किया गया है, जो कि हाईकोर्ट के आदेश का सरासर उल्लंघन है। जबकि इस संबंध में अधिकतर जिलों में आदेश निकाला जा चुका है। नेताद्वय ने आगे बताया कि खुद स्थापना डीपीओ को यह पता नहीं है कि जिले में बीएड पास कितने बेसिक शिक्षक हैं और इसमें से कितनों ने ब्रीज कोर्स कर लिया है। अभी भी बहुत लोग ब्रीज कोर्स नहीं कर पाए हैं। जिनकी सूची तक विभाग के पास नहीं है, जो कि हाईकोर्ट के आदेश का उल्लंघन है।

बीआरपी व सीआरसीसी कर रहे हैं मनमानी

नेताद्वय ने आगे बताया कि बीआरपी और सीआरसीसी का पोस्ट मैजिक पोस्ट हो गया है, जिसके लिए सूबे के एक व्यक्ति ने मुख्यमंत्री के पास शिकायत की थी। परंतु अभी भी स्थिति जस की तस है। ये लोग अकादमिक समर्थन की जगह घर बैठे अपना वेतन उठा रहे हैं। जिले में फर्जी प्रमाण पत्रों के आधार पर शिक्षक बने लोगों पर कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। नेताद्वय ने आगे बताया कि इसी तरह जिले में आरटीई के नियम के विपरीत बीईओ की जिम्मेदारी के बावजूद गैर शैक्षणिक प्रतिनियोजन,राज्य परियोजना निदेशक के पत्रांक 9097/24.10.2019 में दिए गये क्षतिपूर्ति अवकाश के बावजूद जिले के प्रधानाध्यापकों द्वारा क्षतिपूर्ति अवकाश नहीं देना ,सभी प्रकार के बकाया वेतन की समस्या भी गंभीर रूप धारण कर रही है।अगर समस्या का समाधान नहीं होता है, तो स्थानीय विधायक के साथ हमलोग मुख्यमंत्री से मिलने से भी नहीं हिचकेंगे।

Popular Posts

'; (function() { var dsq = document.createElement('script'); dsq.type = 'text/javascript'; dsq.async = true; dsq.src = '//' + disqus_shortname + '.disqus.com/embed.js'; (document.getElementsByTagName('head')[0] || document.getElementsByTagName('body')[0]).appendChild(dsq); })();