--> <!--Can't find substitution for tag [post.title]--> | The Bihar Teacher Times - बिहार शिक्षक नियोजन

LIVE : UPTET Result 2021

Breaking Posts

हौंसले का उदाहरण बने बरेली के पहले नेत्रहीन प्रिंसिपल प्रकाश चंद्र

बरेली के इतिहास में प्रकाश चंद्र तिवारी पहले नेत्रहीन प्रिंसिपल बन गए हैं। प्रकाश के आत्मविश्वास को देखते हुए डीआईओएस ने उन्हें राजकीय हाईस्कूल बल्लिया का चार्ज दे दिया है। सौ फीसदी नेत्रहीन प्रकाश सोशल साइट्स पर भी सक्रिय रहते हैं।

प्रकाश ने 28 फरवरी 2013 को  बल्लिया स्कूल में सहायक अध्यापक के पद पर ज्वाइन किया था। बीती 31 मार्च को प्रिंसिपल मंजू अग्रवाल के सेवानिवृत्त होने के बाद यह पद खाली हो गया। नियमानुसार सीनियर मोस्ट प्रकाश को ही प्रिंसिपल बनना था। मगर डीआईओएस गजेंद्र कुमार नेत्रहीनता को देखते हुए फैसला नहीं ले पा रहे थे। ऐसे में खुद प्रकाश ने अपनी काबिलियत को सिद्ध किया।
प्रकाश ने डीआईओएस से दो टूक कह दिया कि नेत्रहीनता उनके लिए अभिशाप नहीं है। वे अपने सारे काम खुद ही करते हैं। स्कूल का कोई भी छात्र ऐसा नहीं है जो उनके पढ़ाने के तरीके से नाखुश हो। बातों ही बातों में डीआईओएस ने स्कूल में क्लर्क श्याम पाल से प्रकाश के बारे में जानकारी ले डाली।
श्याम ने बताया कि प्रकाश स्कूल के सबसे सक्रिय शिक्षक हैं। यहां तक कि वे फेसबुक, व्हाट्सअप पर भी सक्रिय रहते हैं। इसके बाद डीआईओएस ने चार्ज देने में देरी नहीं की। बांदा के गांव मरका कछार के रहने वाले प्रकाश की शादी भी नेत्रहीन अंजली से हुई है।
बिहार की रहने वालीं अनाथ अंजली से प्रकाश की मुलाकात दिल्ली में हुई थी। प्रकाश-अंजली का बेटा प्रणव अब डेढ़ वर्ष का हो चुका है। प्रकाश कहते हैं-मैं अपनी जिंदगी से पूरी तरह से खुश हूं। समाज अगर साथ दे तो विकलांगता कोई अभिशाप नहीं है।
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC

Popular Posts

'; (function() { var dsq = document.createElement('script'); dsq.type = 'text/javascript'; dsq.async = true; dsq.src = '//' + disqus_shortname + '.disqus.com/embed.js'; (document.getElementsByTagName('head')[0] || document.getElementsByTagName('body')[0]).appendChild(dsq); })();