रोहतास। माई लॉर्ड। आखिर मामले की जांच कैसे की जाए। अब तक रोहतास पुलिस
केस डायरी हैंड ओवर नहीं कर रही है। जिससे जांच कार्य बाधित है। 2012 में
जिले के राजपुर प्रखंड में 33 प्रखंड शिक्षकों के फर्जी नियोजन से जुड़े इस
मामले में निगरानी ने कुछ इसी तरह की फरियाद हाई कोर्ट में लगाई है।
जिसे गंभीरता से लेते हुए कोर्ट ने एसपी को तीन दिन के अंदर नासरीगंज (राजपुर) थाना कांड संख्या 24/ 13 से संबंधित सारे दस्तावेज निगरानी को सौंपने का निर्देश दिया है।
नियोजन में व्यापक स्तर पर बरती गई धांधली के बाद जितेंद्र कुमार की याचिका पर कोर्ट ने पूरे मामले की रिपोर्ट निगरानी को सौंपने का निर्देश दिया था। कोर्ट के आदेश के आलोक में निगरानी ने 10 मई को एसपी को पत्र लिख नासरीगंज (राजपुर) थाना से संबंधित केस डायरी को उपलब्ध कराने के लिए कहा था। 16 मई तक निगरानी को रिपोर्ट नहीं सौंपने पर भी कोर्ट ने रोहतास पुलिस को कड़ी फटकार लगा शीघ्र दस्तावेज उपलब्ध कराने का आदेश दिया। जिसमें नियोजित 33 शिक्षकों के अलावे नियोजन इकाई के पदाधिकारियों पर शिक्षा विभाग ने धारा 406, 409, 419, 420, 467, 468, 471 व 120 बी के तहत प्राथमिकी दर्ज कराई थी। इसके बाद जितेंद्र कुमार ने पूरे मामले को कोर्ट में चुनौती दी थी। जिसमें कोर्ट ने 13 नवंबर 2014 को मामले की जांच निगरानी को सौंपते हुए तीन सप्ताह के अंदर रिपोर्ट देने का आदेश दिया था। लेकिन आज तक न तो निगरानी ही जांच की अंतिम मुकाम तक पहुंच पाई है। न ही फर्जी शिक्षकों को ही हटाया जा सका है। ये शिक्षक प्रखंड के विभिन्न स्कूलों में आज भी पढ़ा रहे हैं।
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