शिक्षकों को रिझाने की कवायद, मोदी बोले
भाजपा के प्रेशर व जीतनराम मांझी के फैसले के कारण वेतनमान देने को बाध्य हुई सरकार
शिक्षकों की सेवानिवृत्ति उम्र सीमा होगी 62 वर्ष
पटना : नीतीश सरकार की मेहरबानी के दो दिन बाद शनिवार को भारतीय जनता
पार्टी भी नियोजित शिक्षकों पर मेहरबान हो गयी. पार्टी के वरिष्ठ नेता व
पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने पार्टी कार्यालय में पत्रकारों से
बात करते हुए कहा कि भाजपा के दबाव और जीतन राम मांझी के निर्णय के कारण
नीतीश सरकार शिक्षकों को वेतनमान देने पर राजी हुई.
उन्होंने कहा कि सरकार बनने पर हमलोग शिक्षकों के मिल रहे वेतनमान में
कम-से-कम 20 प्रतिशत की बढ़ोतरी करेंगे. टोला सेवक, विकास मित्र के मानदेय
में भी बढ़ोतरी होगी. इतना ही नहीं शिक्षकों की सेवानिवृत्ति की आयु 60 से
बढ़ा कर 62 वर्ष करेंगे.
शिक्षकों की सारी समस्याओं का समाधान होगा. इस मौके पर प्रदेश अध्यक्ष
मंगल पांडेय भी थे. पूर्व उपमुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री
जीतनराम मांझी व भाजपा के नेता धन्यवाद के पात्र हैं, जिनके प्रयास से
सरकार नियोजित शिक्षकों को वेतनमान देगी. प्लस टू के शिक्षक व प्राथमिक
शिक्षकों के लिए अलग- अलग वेतनमान होगा.
सरकार ने निर्णय लिया है कि पुराने वेतनमान (9300-43000) पर सृजित पद
रिटायरमेंट के बाद समाप्त हो जायेगा, लेकिन हमलोग चरणबद्ध तरीके से पुराने
वेतनमान को लागू करेंगे. शिक्षकों की सेवाशर्त पेंशन, स्थानांतरण सभी का
समाधान होगा. उन्होंने कहा कि सरकार ने इसके लिए जो समिति बनायी है, उसका
क्या औचित्य है. सरकार ने 2011 में शिक्षक दिवस के मौके पर ही घोषणा कर दी
थी कि नियोजित शिक्षकों को पेंशन मिलेगी. इसके लिए शिक्षक 200 देंगे और
राज्य सरकार इतना ही अंशदान करेगी. सरकार ने आज तक अंशदान नहीं दिया.
उन्होंने सवाल उठाया कि 2011 में शिक्षकों से संबंधित जो निर्णय लिया
गया उसे आजतक क्यों नहीं लागू किया गया. इस मौके पर प्रदेश महामंत्री व
विधान पार्षद डॉ सूरज नंदन कुशवाहा, सुधीर शर्मा, प्रदेश उपाध्यक्ष व विधान
पार्षद संजय मयूख, प्रदेश प्रवक्ता डॉ अजफर शमसी मौजूद थे.
वेतनमान देने पर सीएम नहीं थे तैयार
मोदी ने कहा कि नियोजित शिक्षकों को वेतनमान नहीं मिल पायेगा, यह बात
उन्होंने उस समय मुख्यमंत्री के कहने पर कहा था. मैं वित्त मंत्री था. मैं
उस समय भी वेतनमान देने के पक्ष में था लेकिन मुख्यमंत्री तैयार नहीं थे.
उन्होंने कहा कि पैसे की कोई दिक्कत नहीं है. 14 वां वित्त आयोग से चालू
वित्त वर्ष में 8 हजार करोड़ अधिक मिलेगा.
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