समग्र शिक्षा में केंद्र से बिहार को मिलेगा 8 हजार करोड़, शिक्षक से लेकर छात्रों को होगा लाभ

पटना, जेएनएन। समग्र शिक्षा अभियान के तहत बिहार को इस साल 8 हजार करोड़ रुपये मिलेंगे। प्रोजेक्ट अप्रूवल बोर्ड की उच्च स्तरीय बैठक में शुक्रवार को भारत सरकार ने इसकी मंजूरी दी। यह राशि शिक्षकों के वेतन, बच्चों के लिए पाठ्य पुस्तकें एवं पोशाक, मिड डे मील समेत अन्य योजनाओं के लिए मिलेगी। हालांकि बिहार सरकार ने कुल 16 हजार करोड़ रुपये का बजट प्रस्ताव बैठक में प्रस्तुत किया था जिसमें से केंद्र ने 50 फीसद राशि की कटौती कर दी। इस प्रकार इस साल 8 हजार करोड़ रुपये से बिहार को वंचित रहना पड़ेगा।


शिक्षकों के वेतन में मिलेंगे 3500 करोड़


शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव आरके महाजन के नेतृत्व में प्रोजेक्ट अप्रूवल बोर्ड की बैठक में पूरे साल की कार्य योजना पर चर्चा हुई और इसका प्रेजेंटेशन दिया गया। सबसे पहले शिक्षकों के वेतन के लिए 6400 करोड़ का बजट प्रस्तुत किया गया, लेकिन इस मद में केंद्र सरकार ने 3500 करोड़ रुपये की ही मंजूरी दी। बैठक में महाजन ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये भारत सरकार के समक्ष वेतन का मसला उठाते हुए कहा कि प्राथमिक एवं मध्य विद्यालय के प्रत्येक शिक्षक को प्रतिमाह औसतन 30 हजार रुपये वेतन भुगतान किया जा रहा है, इसलिए पूरे वेतन की राशि मिलनी चाहिए, लेकिन भारत सरकार ने प्राथमिक शिक्षक को प्रतिमाह 15 हजार रुपये और मध्य विद्यालय के शिक्षक के लिए प्रतिमाह 20 हजार रुपये की राशि तय करते हुए शिक्षक वेतन मद में कुल राशि 35 सौ करोड़ देने की सहमति दी। इसके अतिरिक्त 2900 करोड़ रुपये (कंपोजिट ग्रांट) देने की सहमति दी जो विद्यार्थियों के लिए पाठ्य-पुस्तकें, पोशाक, शिक्षक प्रशिक्षण और नए स्कूलों की स्थापना और पुराने स्कूलों का अपग्रेडेशन पर खर्च होंगे।
 पहले की स्कीमों को पूरा करने को प्राथमिकता
भारत सरकार ने पूर्व की शैक्षणिक योजनाओं को पूरा करने के लिए 1600 करोड़ रुपये देने की सहमति दी है साथ ही कहा है कि बिहार सरकार निर्धारित समयसीमा में पहले की स्कीमों को पूरा करने को प्राथमिकता दे।

इन मदों में मिलेगी राशि
- पांचवी तक के स्कूल में खेल सामग्री के लिए 5 हजार रुपये, दसवीं तक के स्कूल में 10 हजार रुपये तथा 12वीं तक के स्कूलों में 15 हजार रुपये दिए जाएंगे

- लाइब्रेरी को प्राथमिकता देते हुए केंद्र हर स्कूल को 5 हजार रुपये से लेकर 20 जार रुपये तक की सहायता राशि देने पर सहमत

- विकलांग विद्याॢथयों को पढऩे के लिए 200 रुपये प्रतिमाह दिए जाएंगे