भागलपुर कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग : 34 असिस्टेंट प्रोफेसर को एक साल का सेवा विस्तार

 जागरण संवाददाता, भागलपुर। भागलपुर कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग (बीसीई) के 34 समेत सूबे के इंजीनियरिंग कॉलेजों में कार्यरत 205 असिस्टेंट प्रोफेसरों को विज्ञान एवं प्रावैद्यिकी विभाग बिहार ने एक साल का सेवा विस्तार दिया है। सेवा अवधि 31 मार्च 2021 बुधवार को खत्म हो रही थी। इसी दिन एक साल का सेवा विस्तार मिलने से राहत मिल गई। राष्ट्रीय परियोजना कार्यान्वयन एकक (एनपीआइयू) द्वारा तकनीकी शिक्षा गुणवत्ता उन्नयन कार्यक्रम-तृतीय चरण (टेक्विप थ्री) के तहत अस्थायी रूप से असिस्टेंट प्रोफेसरों की नियुक्ति हुई थी।

बीसीई में 11 सौ छात्र-छात्राएं अलग-अलग संकायों में नामांकित हैं। 14 ही शिक्षक नियमित हैं। ऐसे में यदि 33 शिक्षकों को सेवा विस्तार नहीं मिलता तो बीसीई की शैक्षणिक व्यवस्था ठप हो जाती। इसके अलावा वहां चल रहे नौ शोध प्रोजेक्ट भी बंद हो जाते।

केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय के अधीन करता है कार्य

टेक्विप के तहत आए शिक्षकों के कारण सूबे के इंजीनियरिंग कॉलेजों की पढ़ाई और शोध के स्तर में गुणवत्ता आई है। एनपीआइ केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय के अधीन कार्य करता है। इसमें चयनित शिक्षक अलग-अलग राज्यों से हैं। वे एनआइटी ओर आइआइटी से नियुक्ति हुए हैं। बीसीई में मैकेनिकल में 14, इलेक्ट्रिकल में चार, सिविल में चार, कंप्यूटर साइंस में चार समेत अन्य विषयों में 33 शिक्षक हैं।

सूबे में 205 असिस्टेंट प्रोफेसर

सूबे में टेक्विप के तहत 205 असिस्टेंट प्रोफेसर कार्यरत हैं। इसके पूर्व भी सेवा विस्तार को लेकर टेक्विप के प्रोफेसरों ने पूरे देश में चरणबद्ध आंदोलन किया था। तब केंद्र से ही छह माह का सेवा विस्तार मिला था। इसके बाद मार्च 2021 में सेवा अवधि खत्म होने को लेकर विभाग को पत्राचार किया था। किंतु कोई जवाब नहीं मिल रहा था। बुधवार को बिहार सरकार ने अवधि विस्तार की अधिसूचना जारी कर दी।

केंद्र से मिला है छह माह का विस्तार

टेक्विप से जुड़े प्रोफेसरों ने बताया कि बिहार सरकार से सेवा विस्तार का पत्र जारी हुआ है। इसके पूर्व एनपीआइयू द्वारा भी उन लोगों को बताया गया कि केंद्र से उन्हें छह माह का विस्तार दिया गया है।

सेवा विस्तार की जानकारी मिली है, किंतु आधिकारिक सूचना नहीं मिली है। संस्थान की तरफ से विभाग को सेवा विस्तार हेतु पत्राचार किया गया था। - डॉ. पुष्पलता, प्राचार्या बीसीई